जयपुर न्यूज डेस्क: राजस्थान में एक अनोखी शादी सुर्खियों में है, जहां सरकारी कर्मचारी दीपक कुमार ने समाज के लिए मिसाल पेश की। भादरा तहसील के बिजनेसमैन विनोद कुमार के बेटे दीपक की शादी स्कूल प्रिंसिपल इंद्राज महला की बेटी ज्योति के साथ हुई। शादी के बाद जब विदाई का समय आया, तो दुल्हन के घरवालों ने दहेज देने की कोशिश की, लेकिन दीपक ने साफ मना कर दिया। उन्होंने सिर्फ 1 रुपया और नारियल लेकर ज्योति को अपने घर ले गए, जिससे समाज को एक सकारात्मक संदेश मिला।
दीपक कुमार ने बताया कि उन्होंने पहले ही तय कर लिया था कि वे ससुराल से दहेज नहीं लेंगे। उन्होंने कहा कि उनकी पत्नी ही उनके लिए सबसे बड़ी संपत्ति हैं, और किसी भी तरह का दहेज लेना गलत है। दीपक के इस फैसले की उनके परिवार ने भी सराहना की और बताया कि आजकल की शादियों में फिजूलखर्ची और दहेज की प्रथा बहुत बढ़ गई है, जिसे खत्म करना जरूरी है।
उनका मानना है कि अमीर परिवारों के लिए दहेज देना आसान हो सकता है, लेकिन गरीब परिवारों के लिए यह बहुत मुश्किल होता है। कई बार लोग बेटी की शादी के लिए कर्ज तक ले लेते हैं, जिसे वे पूरी जिंदगी चुकाते रहते हैं। ऐसे में समाज को इस कुप्रथा के खिलाफ आवाज उठानी चाहिए, ताकि किसी भी परिवार पर बेटी की शादी का आर्थिक बोझ न पड़े।
दीपक कुमार की यह पहल पूरे शहर में चर्चा का विषय बन गई है। लोग उनके फैसले की सराहना कर रहे हैं और इसे एक नई सोच की शुरुआत मान रहे हैं। समाज में ऐसे बदलाव जरूरी हैं, ताकि दहेज जैसी कुरीतियों को हमेशा के लिए खत्म किया जा सके और शादियों को सरल और खुशहाल बनाया जा सके।